सिर्फ नमक कम करना इस जंग का आधा हल है, करें प्राणायाम

दिव्यशंखनाद 23 मई | आज की भागदौड़ भरी जिंदगी में हाई ब्लड प्रेशर यानी उच्च रक्तचाप एक आम समस्या बन चुकी है। लोग अक्सर सोचते हैं कि सिर्फ नमक कम कर देने से यह बीमारी काबू में आ जाएगी, लेकिन क्या आप जानते हैं कि आपकी रोजमर्रा की कुछ आदतें भी इसे बढ़ाने में बड़ा रोल निभा सकती हैं?
आइए जानते हैं कुछ आदतों के बारे में, जिन्हें बदलकर आप अपने दिल और सेहत को बचा सकते हैं। उच्च रक्तचाप तब होता है, जब आपकी धमनियों में खून का दबाव सामान्य से ज्यादा हो जाता है। यह न केवल दिल की बीमारियों का खतरा बढ़ाता है, बल्कि स्ट्रोक और किडनी की समस्याओं को भी जन्म दे सकता है।
हाई बीपी के लक्षण-
-सांस लेने में कठिनाई
-थकान महसूस होना
-सिर दर्द
-चक्कर आना
-सीने में दर्द

डब्ल्यूएचओ के अनुसार, भारत में हर चौथा व्यक्ति इस समस्या से जूझ रहा है। इसलिए, इसे नियंत्रित करना बेहद जरूरी है। सिर्फ नमक कम करना इस जंग का आधा हल है; बाकी आपकी आदतों पर निर्भर करता है।
1. तनाव को बनाना :
दोस्तकाम का बोझ, पारिवारिक जिम्मेदारियां, या छोटी-छोटी बातों पर चिंता करना आपके ब्लड प्रेशर को चुपके से बढ़ा सकता है। जब आप तनाव में होते हैं, तो शरीर में कॉर्टिसोल हार्मोन बढ़ता है, जो रक्तचाप को प्रभावित करता है। रोजाना 10 मिनट की मेडिटेशन, गहरी सांस लेने की आदत, या हल्की सैर आपके तनाव को कम कर सकती है।
2. नींद से समझौता करना :
क्या आप रात में देर तक जागते हैं या नींद पूरी नहीं करते? यह आदत आपके ब्लड प्रेशर को आसमान छूने पर मजबूर कर सकती है। रात की अच्छी नींद आपके शरीर को रिचार्ज करती है और रक्तचाप को संतुलित रखती है। कोशिश करें कि रोजाना 7-8 घंटे की नींद जरूर लें और सोने से पहले स्क्रीन टाइम कम करें।
3. शारीरिक मेहनत को नजरअंदाज करना :
बैठे-बैठे काम करना या व्यायाम से दूरी बनाना आजकल आम बात है, लेकिन यह आपकी सेहत के लिए खतरनाक है। नियमित व्यायाम जैसे तेज चलना, योग, या साइकिलिंग आपके रक्तचाप को नियंत्रित करने में मदद करता है। हफ्ते में कम से कम 150 मिनट की मध्यम एक्सरसाइज को अपनी जिंदगी का हिस्सा बनाएं।
4. खाने में लापरवाही बरतना :
नमक कम करना अच्छा है, लेकिन अगर आप तला-भुना खाना, प्रोसेस्ड फूड, या ज्यादा चीनी खा रहे हैं, तो यह आपके रक्तचाप को बढ़ा सकता है। फल, सब्जियां, साबुत अनाज, और कम वसा वाले डेयरी प्रोडक्ट्स को अपने आहार में शामिल करें। खासकर, पोटैशियम युक्त खाद्य पदार्थ जैसे केला और पालक आपके लिए फायदेमंद हैं।
5. धूम्रपान और शराब का साथ :
धूम्रपान और ज्यादा शराब पीना आपके रक्त वाहिकाओं को नुकसान पहुंचाता है और ब्लड प्रेशर को बढ़ाता है। अगर आप इन आदतों को छोड़ देंगे, तो न केवल आपका रक्तचाप नियंत्रित रहेगा, बल्कि आपकी पूरी सेहत में सुधार आएगा। धीरे-धीरे इनका सेवन कम करें और जरूरत हो तो विशेषज्ञ की सलाह लें।
हाई ब्लड प्रेशर के लिए प्राणायाम-
अनुलोम विलोम-

रोजाना सुबह खाली पेट अनुलोम विलोम का अभ्यास करने से फेफड़े मजबूत बनने के साथ शरीर में ऑक्सीजन का फ्लो भी बेहतर होता है। इसके अलावा अनुलोम विलोम सांस संबंधी रोगों को ही नहीं बल्कि तनाव को भी दूर करने में मदद करता है। अनुलोम विलोम करने के लिए सबसे पहले योगा मैट पर पद्मासन या सुखासन में बैठ जाएं। इसके बाद अपने दाएं हाथ के अंगूठे से दाईं नासिका को बंद करें, बाईं नासिका से सांस लें। ऐसा ही बाईं तरफ से भी करें। अपनी बाईं नासिका को बंद करके दाईं नासिका से सांस छोड़ें। इसके बाद बाईं नासिका को बंद करें, दाईं नासिका से सांस लें और बाईं नासिका से छोड़ दें। इस प्रक्रिया को लगभग 10 मिनट तक करें।
भ्रामरी प्राणायाम-

भ्रामरी प्राणायाम करने से व्यक्ति को तनावमुक्त रहने के साथ थायराइड, साइनस, माइग्रेन और ब्लड प्रेशर जैसी समस्याओं में राहत मिलती है। नियमित रूप से भ्रामरी प्राणायाम का अभ्यास करने पर व्यक्ति को ब्लड प्रेशर कंट्रोल करने में भी मदद मिलती है। भ्रामरी प्राणायाम करने के लिए सबसे पहले पद्मासन या सुखासन में बैठकर अपने दोनों हाथों के अंगूठों से कान बंद करके अपनी तर्जनी उंगुली को माथे पर रखें।अब मध्यमा, अनामिक और कनिष्का उंगुली को आंखों के ऊपर रखते हुए अपने मुंह को बंद कर दें। ऐसा करते हुए सामान्य गति से नाक से सांस लें और अपनी नाक से ही मधु-मक्खी की तरह आवाज निकालते हुए सांस छोड़ें। इस प्रक्रिया को आप करीब 5 मिनट तक कर सकते हैं।